गर्मियों में लू से बचने के कुछ उपाय
- लू लगने से मस्तिष्क और अन्य अँगों को नुक़्सान पहुँच सकता है।
- लू लगना एक मेडिकल स्वास्थ्य एमर्जेंसी होता है।
- बढ़ती गर्मी की वजह से 2017 में श्रम के लगभग 153 बिलियन घण्टे कम हो गए थे।
लंबे समय तक धूप या गर्म हवाओं में रहने से लू लग सकती है। स्वास्थ्य विशेषज्ञों का कहना है कि लू लगने के बाद अगर सही समय पर इलाज ना करवाया जाए तो इस से मस्तिष्क और अन्य अँगों को नुक़्सान पहुँच सकता है।
चिकित्सकों ने चेतावनी दी है कि जलवायु परिवर्तन की वजह से तापमान बढ़ने से इसकी चपेट में आने वाली आबादी को गर्मी से संबंधित अतिरिक्त रोग होने और मृत्यु दर बढ़ने की आशंका रहेगी।
सर गंगा राम अस्पताल के आंतरिक चिकित्सा विभाग से डॉ. एस.पी. बयोत्रा ने कहा कि लू लगना एक मेडिकल स्वास्थ्य एमर्जेंसी है। लू लगने पर मरीज़ को तुरंत किसी ठण्डे स्थान पर ले जाना चाहिए। तुरंत उस के शरीर पर पानी डालते हुए शरीर का तापमान कम करके मरीज़ को राहत देनी चाहिए।
प्रशांत महासागर में अल नीनो जलवायु चक्र दुनिया भर के मौसम पर असर डाल रहा है। इस के प्रभाव की वजह से 2019 मानव इतिहास का सबसे गर्म साल रहेगा।
पिछले साल Lancet की Countdown on health and climate change रिपोर्ट में कहा गया था कि बढ़ती गर्मी की वजह से 2017 में श्रम के लगभग 153 बिलियन घण्टे कम हो गए थे। सन् 2000 से इस में 62 बिलियन से अधिक घण्टे और जुड़ गए थे। जिन क्षेत्रों पर इस का सबसे अधिक प्रभाव पड़ा वे थे भारत, दक्षिणपूर्व एशिया, दक्षिण अमरीका और उप-सहारा अफ्रीक़ा।
भारत में गर्मियों की शुरुआत हो चुकी है और तापमान सामान्य से बढ़कर बहुत गर्म होता जा रहा है। भारत के मौसम-विज्ञान विभाग के अनुसार आने वाले सप्ताह में दिल्ली, राजस्थान, दक्षिण हरियाणा, पंजाब और उत्तर प्रदेश में अलग-अलग स्थानों पर धूल भरी आँधी चल सकती है।
पश्चिमी मध्य प्रदेश में चार अप्रैल 2019 को पहले से ही सबसे अधिक तापमान 45.0 डिग्री सेल्सियस रिकॉर्ड किया जा चुका है
65 वर्ष से अधिक उम्र के व्यक्तियों को लू लगने का अधिक डर होता है, विशेष तौर से जिन्हें मधुमेह, दिल के रोग या साँस से जुड़ी कोई पुरानी बीमारी है और जो शहरी इलाक़ों मे रह रहे हैं।
BLK Super Speciality अस्पताल के Internal Medicine के निदेशक डॉ. आर.के. सिंघल ने कहा कि गर्म हवाओं या लू से मधुमेह रोगियों और हृदय रोगियों को ज़्यादा ख़तरा होता है। अधिक तापमान के समय इन लोगों को बाहर जाने से बचना चाहिए। दिन में कुछ-कुछ देर के बाद थोड़ा-थोड़ा तरल पदार्थ ज़रूर लेते रहना चाहिए।
लू से बचने के लिए टिप्स:
- गर्मियों के दौरान दोपहर 12 बजे से 4 बजे तक तापमान सबसे अधिक रहता है, इसलिए इस दौरान छाते या किसी और तरीक़े से अपना सर ढके बिना बाहर नहीं जाना चाहिए।
- शरीर में पानी की कमी ना होने दें और अधिक पानी पिएँ।
- अगर आप किसी गर्म स्थान पर काम कर रहे हैं तो हर आधे घण्टे बाद कुछ तरल पदार्थ ज़रूर पिएँ।
- अगर तापमान तीस डिग्री सेल्सियस से अधिक है तो खुले में कसरत ना करें।
- ढीले-ढाले सूती कपड़े पहनें।